5 राज्यो में चुनाव की घोषणा से गरमाई देश की राजनीति, हरियाणा के नेता सम्भालेंगे पंजाब, यूपी व उत्तराखंड में अपनी पार्टी की जिम्मेदारी!*
राणा ओबराय
राष्ट्रीय ख़ोज/भारतीय न्यूज,
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5 राज्यो में चुनाव की घोषणा से गरमाई देश की राजनीति, हरियाणा के नेता सम्भालेंगे पंजाब, यूपी व उत्तराखंड में अपनी पार्टी की जिम्मेदारी!*
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चंडीगढ ;- चुनाव आयोग के उत्तर प्रदेश, पंजाब और उत्तराखंड सहित पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव की घोषणा करते ही हरियाणा की राजनीति गरमा गई है। स्थानीय नेताओं ने साथ लगते इन प्रदेशों में चुनाव को लेकर कमर कस ली है। कई नेताओं ने तो अपनी ड्यूटी मिलते ही संबंधित नेता प्रचार-प्रचार के लिए रवाना हो चुके हैं। कई बड़े नेताओं ने अगले दिनों अपने सभी कार्यक्रम स्थगित कर दिए हैं या फिर चुनाव ड्यूटी आने तक कार्यक्रमों की तारीख होल्ड कर ली है।
उत्तर प्रदेश और पंजाब सहित उत्तराखंड को हरियाणा सबसे अधिक प्रभावित करता है। पंजाब के कई जिले हरियाणा की सीमा से लगे हैं। यहां से लोगों का आना-जाना लगा रहता है। कुरुक्षेत्र, अंबाला, कैथल व सिरसा जिलों के कई गांव पंजाब के साथ जुड़े हैं। इन गांवों के लोग सुबह व शाम को एक दूसरे के साथ बैठकर चर्चा तक कर लेते हैं। यमुनानगर का कलेसर जंगल और उत्तराखंड राजा जी पार्क एक दूसरे प्रदेश को जोड़ते हैं। उत्तर प्रदेश की सीमा सबसे लंबी हरियाणा से लगती है। इसमें यमुनानगर, करनाल, पानीपत, सोनीपत व एनसीआर का फरीदाबाद जिला लगता है। इन कई जिलों में तो हरियाणा और उत्तर का रोटी बेटी का नाता तक है। भाजपा में पंजाब, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के चुनाव में प्रदेश के कई बड़े नेता या चेहरे हैं। इनमें खुद मुख्यमंत्री मनोहर लाल, उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला, स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज, खेल मंत्री संदीप सिंह, शिक्षा मंत्री कंवरपाल गुर्जर, कुरुक्षेत्र के सांसद नायब सिंह सैनी, करनाल सांसद संजय भाटिया, सोनीपत के सांसद रमेश कौशिक हैं। इनके अलावा प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़, पूर्व परिवहन मंत्री कृष्णलाल पंवार, पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु सहित कई चेहरे हैं। खेल मंत्री संदीप सिंह और सांसद संजय भाटिया को पहले भी कई प्रदेशों व सीटों पर चुनाव प्रचार प्रसार की जिम्मेदारी मिली है।
चुनाव आयोग ने उत्तर प्रदेश, पंजाब व उत्तराखंड सहित पांच राज्यों में सात चरणों में चुनाव कराने का फैसला लिया है। उत्तर प्रदेश में 10 फरवरी को पहले दौर का मतदान होगा। उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक चरण हाेंगे। ये 10 फरवरी से सात मार्च तक होंगे। पंजाब, उत्तराखंड और गोवा में 14 फरवरी को मतदान और मणिपुर में 27 फरवरी और 3 मार्च को मतदान होगा। मतगणना दस मार्च को होगी। 15 जनवरी तक किसी तरह की रैली, रोड शो और पदयात्रा नहीं होगी। नुक्कड़ सभा, बाइक रैली पर भी रोक। कैंपेन में कोविड प्रोटोकॉल का पालन करना जरूरी। घर-घर जाकर पांच लोगों को प्रचार करने की अनुमति। जीत के बाद विजय जुलूस पर रोक रहेगी। नेता डिजिटल, वर्चुअल तरीके से चुनाव प्रचार कर सकेंगे। देश में पांच राज्यों की 690 विधानसभाओं में चुनाव होंगे। यहां 18.34 करोड़ मतदाता नेताओं के भाग्य का फैसला करेंगे। खास बात है कि चुनाव में लगे कर्मियों को कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज लगवानी हाेंगी।