हिसार से पुर्व मंत्री डॉ. कमल गुप्ता को मनाए बिना भाजपा में पुनः वापसी नही कर सकेंगे सरदाना व तरुण जैन!*
राणा ओबराय
राष्ट्रीय खोज/भारतीय न्यूज,
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हिसार से पुर्व मंत्री डॉ. कमल गुप्ता को मनाए बिना भाजपा में पुनः वापसी नही कर सकेंगे सरदाना व तरुण जैन!*
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हिसार ;- 2024 विधानसभा चुनाव में पार्टी से बागी होकर भाजपा प्रत्याशी के खिलाफ बतौर निर्दलीय चुनाव लड़ने वाले पूर्व मेयर गौतम सरदाना और पूर्व जिला उपाध्यक्ष तरुण जैन की वापसी को लेकर पार्टी में तकरार हो गई है। पार्टी के अंदर यह रार इतनी ज्यादा हो गई है कि सोमवार को मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को अपना प्रस्तावित कार्यक्रम भी रद्द करना पड़ा। दोनों नेताओं ने चुनाव के दौरान पूर्व मंत्री डॉ. कमल गुप्ता के खिलाफ व्यक्तिगत तौर पर काफी बयानबाजी की थी। पार्टी के सूत्र बताते हैं कि इनकी वापसी पर पूर्व मंत्री डॉ. कमल गुप्ता ने ही अड़ंगा लगाया है।
मामले के अनुसार प्रदेश नेतृत्व व जिला भाजपा गौतम सरदाना की और कैबिनेट मंत्री रणबीर गंगवा, तरुण जैन की पार्टी में वापसी करवाना चाह रहे थे। जब डॉ. गुप्ता को इसी भनक लगी तो उन्होंने रविवार को अपने घर पर पार्टी पदाधिकारियों के साथ बैठक की और इस पर कड़ी नाराजगी जताई। इसके बाद मामला मुख्यमंत्री तक गया और फिर उनका कार्यक्रम रद्द कर दिया गया।भाजपा प्रवक्ता आजाद से बात की गई तो उन्होंने कहा कि गौतम सरदाना और तरुण जैन को फिर से पार्टी में शामिल करने के बारे में पार्टी की तरफ से कभी भी बयान नहीं दिए गए थे। मुख्यमंत्री को बवानीखेड़ा में एक विवाह कार्यक्रम में जाना है, जिसके कारण यह दौरान रद्द किया गया है। अभी काफी समय है और मुख्यमंत्री का फिर से कार्यक्रम बन सकता है। डॉ. कमल गुप्ता से संपर्क किया गया लेकिन वे चुनावी कार्यक्रम में व्यस्त थे और उनके पीए ने कहा कि समय मिलने पर बात करवाएंगे। हालांकि डॉ. कमल गुप्ता के समर्थक खुलेआम गौतम और तरुण की एंट्री का विरोध कर रहे हैं। पार्टी सूत्रों ने बताया कि अब दोनों नेताओं को स्पष्ट कर दिया गया है कि डॉ. कमल गुप्ता को मनाए बिना भाजपा में वह नहीं आ सकेंगे।
चुनाव में कही थी यह बातें
चुनावों के दौरान गौतम सरदाना ने डॉ. कमल गुप्ता को प्रॉपर्टी सर्वे करने वाली याशी कंपनी का प्रत्याशी करार दिया था। उन्होंने कहा था कि डॉ. कमल गुप्ता ने शहर की जनता को परेशान करने वाली कंपनी को 18 करोड़ की बजाय 58 करोड़ रुपए का भुगतान करवाया जबकि कंपनी पर टेंडर राशि से दो से चार गुना जुर्माना लगना था। इसी प्रकार तरुण जैन ने विधानसभा चुनाव के दौरान डॉ. कमल गुप्ता को हरियाणा का सबसे विफल विधायक बताया और कहा था कि वे अपनी जमानत भी नहीं बचा पाएंगे। उन्होंने डॉ. कमल गुप्ता तो डम्मी नेता बताया और यहां तक कहा कि उनका न तो कोई विजन है और न ही समस्याओं के समाधान की इच्छाशक्ति है।