गुस्साए किसानों का आंदोलन और तेज करने का फैंसला, अन्नदाता कल दिल्ली-जयपुर हाईवे करेंगे जाम*
राणा ओबराय
राष्ट्रीय ख़ोज/भारतीय न्यूज,
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गुस्साए किसानों का आंदोलन और तेज करने का फैंसला, अन्नदाता कल दिल्ली-जयपुर हाईवे करेंगे जाम*
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नई दिल्ली ;- केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन जारी है। किसानों को मनाने के लिए सरकार द्वारा किये जा रहे तमाम प्रयास विफल हो रहे हैं। इन सबके बीच सिंघु बॉर्डर पर धरने पर बैठे किसानों के खिलाफ महामारी एक्ट के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। यहां पर किसानों का प्रदर्शन आज 16वें दिन भी जारी है। केंद्र सरकार के सभी प्रस्तावों को किसानों ने खारिज कर दिया है। इसके अलावा कई दौर की केंद्र सरकार के साथ चली वार्ता भी अबतक बेनतीजा रही है। अब गुस्साये किसानों ने अपना आंदोलन तेज करने का मन बना लिया है। किसान संगठनों का कहना है कि अब तो उनकी बस एक ही मांग है कि सरकार काले कानून को वापस ले। संशोधन किसी भी कीमत स्वीकार्य नहीं है। किसान नेताओं के साथ साथ एनसीपी के अध्यक्ष शरद पवार ने सीधे तौर पर केंद्र सरकार को चेतावनी दी है कि सहिष्णुता की परीक्षा ना ले। इस बीच किसान संगठनों ने 12 से 14 दिसंबर के बीच होने वाले प्रदर्शन के बारे में जानकारी दी है। भारतीय किसान यूनियन के प्रमुख बलबीर एस राजेवाल ने बताया कि किसानों का आंदोलन और तेज होगा। शनिवार को दिल्ली-जयपुर हाईवे ब्लॉक किया जाएगा। हालांकि उन्होंने कहा कि रेलवे ट्रैक को ब्लॉक करने की कोई योजना फिलहाल नहीं है।कानून वापसी पर अड़े किसान, सरकार संशोधन को तैयार, आंदोलन जारी – किसान संगठनों का कहना है कि केंद्र सरकार की हठधर्मिता की वजह से किसानों के सामने और कोई रास्ता नहीं हैं। सबसे बड़ा सवाल यह है कि जब केंद्र सरकार मौजूदा कृषि कानूनों में संशोधन करने के लिए तैयार है तो कृषि कानूनों को वापस लेने में परेशानी क्या है। इससे पहले राकेश टिकैत ने कहा था कि 15 में से 12 संशोधनों पर सरकार तैयार है तो इसका अर्थ यह है कि कानून में खामी है। लेकिन कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा था कि कोई भी कानून पूरी तरह से गलत नहीं होता है। अगर किसी संगठन को कानून की कुछ धाराओं को लेकर ऐतराज है तो उनमें बदलाव किया जा सकता है।