हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेणु भाटिया ने पदभार संभालते हुए सुनाई अपनी आपबीती*
राणा ओबराय
राष्ट्रीय ख़ोज/भारतीय न्यूज,
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हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेणु भाटिया ने पदभार संभालते हुए सुनाई अपनी आपबीती*
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पंचकूला ;- हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेणु भाटिया ने अपनी आपबीती सुनाते हुए कहा मेरी कहानी बलराज साहनी की फिल्म ‘वक्त’ की तरह है। उन्होंने कहा मेरा लालन पोषण बिना मां बाप के हुआ। इसलिए बच्चियों और महिलाओं के साथ जो बीतती है, वो मेरे से ज्यादा कौन समझ सकता है। ये बात बुधवार को हरियाणा महिला आयोग की नवनियुक्त चेयरपर्सन रेणू भाटिया ने कही। उन्होंने बताया कि उनका परिवार श्रीनगर के धनाढ़य परिवारों में से एक था। कश्मीर में डल लेक के सामने उनका घर था। जब वह सात साल की थी तो सुबह 4 बजे मकान ढहने के कारण मां- बाप, ढाई साल की बहन और 9 महीने के भाई की मौत हो गई। मैं और मेरा तीन साल का छोटा भाई इस हादसे में बच गए। हमारा पालन पोषण ताया और ताई ने किया। मैं औरतों के साथ होने वाले अन्याय से भली भांति वाकिफ हूं। जो कमजोर मिलती है तो उन्हें अपनी कहानी सुनाती हूं। रेणू भाटिया पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो पर बनी फिल्म बेनजीर में अभिनय कर चुकी है। इसके अलावा दूरदर्शन में नाटकों में काम कर चुकी है। रेणू भाटिया ने बताया कि 1976 को मेरे जन्म दिन पर हादसा था। रात को हम पूरा परिवार फिल्म देखकर आए थे। फिल्म में सुनील दत्त ने जो गाड़ी चलाई थी, वो हमारी थी। इसलिए फिल्म देखने गए। वक्त फिल्म में भी बलराज साहनी का पूरा परिवार अपने बच्चों का जन्म दिन मना रहा होता है और भूंकप आने पर हादसा हो जाता है। मेरी जिंदगी की कहानी वक्त फिल्म की कहानी है।
हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेणू भाटिया ने बताया कि 1987 में फरीदाबाद में डिप्टी सीएम मंगल सेन पहुंचे। उस समय पड़ोस में रहने वाले भाजपा विधायक कुंदन लाल भाटिया के घर आए। मैं इससे बेखबर होकर भाजपा के झंडे तैयार करती रही। तभी पीछे से आकर विधायक से पूछा कि लड़की कौन है, जो इतनी लग्न से झंडे तैयार कर रही है। उन्होंने कहा इसको पार्टी की सदस्यता ग्रहण कराओ।